राजस्थान सरकार का पीरामल स्कूल ऑफ लीडरशिप के साथ हुआ एमओयू
Tina Surana
December 10, 2019
स्वास्थ्य-शिक्षा
जयपुर। प्रदेश के शिक्षा राज्यमंत्री गोविन्द सिंह डोटासरा ने कहा है कि राजस्थान देश का पहला राज्य है जहां पर बस्ते के बोझ को कम करने की पहल की गयी है। उन्होंने कहा कि इसके तहत जयपुर को पायलट प्रोजेक्ट के रूप में लेते हुए राज्य के सभी 33 जिलों के एक-एक स्कूल में बस्ते के बोझ को कम करने के प्रयास के सकारात्मक परिणाम सामने आए हैं। उन्होंने कहा कि बस्ते के बोझ को कम करने के आए परिणामों की समीक्षा की जा रही है। राज्य सरकार का प्रयास है कि अगले वर्ष कक्षा एक से पांच तक के अंतर्गत राज्य के 65 हजार विद्यालयों में बस्ते का बोझ कम करने की परियोजना को पूरी तरह से लागू कर दिया जाए।
झुंझुनूं होगा ‘इनोवेशन हब फॉर एक्सीलेंस इन स्कूल एजुकेशन‘ के रूप में विकसित
डोटासरा सोमवार को शिक्षा संकुल में प्री-प्राइमरी से माध्यमिक स्तर तक के छात्रों के लिए शिक्षा में सुधार और देश में स्कूली शिक्षा में उत्कृष्टता के लिए किए जा रहे कार्यों और पीरामल फाउण्डेशन द्वारा उन्हें बस्ते का बोझ कम करने की रिपोर्ट के लोकार्पण मौके पर संबोधित कर रहे थे। इस अवसर पर झुंझुनूं जिले को ‘इनोवेशन हब फॉर एक्सीलेंस इन स्कूल एजुकेशन‘ के रूप में विकसित करने के लिए शिक्षा विभाग एवं पीरामल फाउण्डेशन के मध्य एमओयू पर भी हस्ताक्षर किये गये।