मुंबई. भारतीय रिजर्व बैंक की Monetary Policy Committee (MPC) की बैठक सोमवार को शुरू हुई। अनुमान जताया जा रहा है कि एमपीसी महंगाई पर काबू पाने के लिए ब्याज दरों में 0.25-0.35 फीसदी तक की और बढ़ोतरी कर सकती है। बीते दिनों मुद्रास्फीति में नरमी और आर्थिक वृद्धि में कमी के संकेत दिखने लगे हैं, जिसके चलते यह उम्मीद है कि इस बार ब्याज दरों में बढ़ोतरी सामान्य ही रहेगी।
मुद्रास्फीति रिजर्व बैंक के छह फीसदी के संतोषजनक स्तर से ऊपर
मुद्रास्फीति जनवरी से ही रिजर्व बैंक के छह फीसदी के संतोषजनक स्तर से ऊपर बनी हुई है। आरबीआई ने मई में अचानक रीपो दर में 0.40 फीसदी की बढ़ोतरी की थी। इसके बाद तीन बार प्रमुख नीतिगत दर रीपो में 0.50-0.50 फीसदी की बढ़ोतरी की जा चुकी है। इस समय रीपो दर 5.9 फीसदी है। आरबीआई गवर्नर शक्तिकांत दास (RBI Governor Shaktikanta Das) एमपीसी की तीन दिन की बैठक के समापन पर बुधवार (सात दिसंबर) को द्विमासिक मौद्रिक नीति की घोषणा करेंगे।
आरबीआई करेगा दिसंबर नीति में दरों में कम बढ़ोतरी
भारतीय स्टेट बैंक ने सोमवार को एक शोध रिपोर्ट में कहा, ‘हमें उम्मीद है कि आरबीआई दिसंबर नीति में दरों में कम बढ़ोतरी करेगा। ऐसा लगता है कि रीपो दर में 0.35 फीसदी तक बढ़ोतरी होगी। हमारा मानना है कि 6.25 फीसदी पर रीपो दर स्थिर हो जाएगी।’