जयपुर। राजधानी के मंदिरों में भगवान को ठंड से बचाने के पूरे जतन किए जा रहे हैं। तेज सर्दी के कारण भगवान को भी गर्म कपड़े पहनाए व ओढ़ाए गए और साथ ही संत-महापुरुषों की मूर्तियों को भी गर्म कपड़े पहनाए जा रहे हैँ। कई मंदिरों में ठाकुर जी की दिनचर्या और भोग में बदलाव भी हो गया है।
भगवान को गर्म पानी से करवाया जा रहा स्नान
भगवान के शृंगार, भोग से लेकर आरती और शयन तक की दिनचर्या में पूरी तरह से बदल गई है। भगवान को गर्म पानी से स्नान करवाया जा रहा है। साथ ही रजाई और सिगड़ी अलावा की सेवा रखी जा रही है।वहीं व्यंजना द्वादशी पर भोग सेवा में पूर्ण रूप से परिवर्तन कर दिया जाएगा। गोविंददेवजी मंदिर के प्रबंधक मानस गोस्वामी ने बताया कि शयन झांकी में मखमली रुई से तैयार विशेष पोशाक धारण करवाई गई । पंचामृत अभिषेक के बाद जामा पोशाक धारण करवाई जा रही है। इसी प्रकार भोग के व्यंजनों में भी गर्म तासीर वाले भोज्य पदार्थ शाामिल किए जा रहे हैं।