जयपुर। अतिरिक्त मुख्य सचिव माइंस, पेट्रोलियम, उद्योग व एमएसएमई वीनू गुप्ता ने कपूरडी और जालीपा माइंस में सीपेज के करीब 5.51 एमएलडी अतिरिक्त जल स्रोत का शोधन कर औद्योगिक उपयोग की संभावनाएं तलाशने के निर्देश दिए हैं। उन्होंने बाडमेर लिग्नाइट माइनिंग कंपनी (बीएलएमसीएल) की सीएसआर गतिविधियों में विस्तार करने की आवश्यकता व्यक्त की है।
एसीएस माइंस गुप्ता शुक्रवार को उद्योग भवन में राज्य सरकार के संयुक्त उपक्रम बीएलएमसीएल की 66 वीं संचालक मण्डल की बैठक को संबोधित कर रही थी। श्रीमती गुप्ता बीएलएमसीएल की चेयरपर्सन भी हैं। उन्होंने कहा कि माइंस में सीपेज से उपलब्ध पानी को शोधित कर औद्योगिक उपयोग में लिया जाता है तो यह पानी का सदुपयोग होगा। उन्हांेंने इसके लिए केन्द्रीय भूजल विभाग सहित संबंधित विभागों से समन्वय बनाते हुए नियमानुसार वैधानिक कार्यवाही कराने को कहा है। उन्होंने बताया कि दोनों माइंस में 22.96 एमएलडी पानी का सीपेज है, जिसमें से अन्य उपयोग के बाद कपूरडी माइंस से 3.98 एमएलडी और जालीपा माइंस से 1.53 एमएलडी सीपेज पानी अतिरिक्त उपलब्ध होगा। उन्होंने बताया कि करीब 500 टीडीएस के इस पानी को शोधित कर औद्योगिक उपयोग के योग्य बनाया जा सकता है। इससे क्षेत्र में औद्योगिक गतिविधियों के लिए पानी की उपलब्धता बन सकेगी।
एसीएस श्रीमती गुप्ता ने बीएलएमसीएल की सीएसआर गतिविधियों में और अधिक विस्तार करने की आवश्यकता व्यक्त करते हुए कहा कि इससे एक और जहां कॉरपोरेट सोशियल दायित्व की पूर्ति होगी वहीं जनहित के कार्य संपादित हो सकेंगे। सीएसआर कमेटी में एमडी आरएसएमएमएल श्री संदेश नायक को सम्मिलित किया गया है। उन्होंने बीएलएमसीएल की गतिविधियों की भी समीक्षा करते हुए संतोष व्यक्त किया और आवश्यक दिशा-निर्देश दिए। बीएलएमसीएल के एमडी श्री ललित कुमार गुप्ता ने विभागीय गतिविधियों की जानकारी दी।
संचालक मण्डल की बैठक में वित्त (बजट) सचिव श्री रोहित गुप्ता, एमडी आरएसएमएमएल श्री संदेश नायक, जेएसडब्ल्यू के श्री प्रशांत जैन, श्रीमती रुपा देवी सिंह, श्री सुनील दत्त व्यास, कंपनी सचिव श्री नीतेश गंगवाल आदि ने भी सुझाव दिए।