देश के बड़े कोचिंग सेंटरों ने वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण से मिलकर जीएसटी रेट में कटौती करने की मांग की है। कोचिंग सेंटरों की मांग है कि उनपर लगने वाले 18 फीसदी जीएसटी रेट को घटाकर निचले टैक्स स्लैब में लाया जाए या उनपर से जीएसटी हटा दिया जाए।
बड़े कोचिंग सेंटरों के प्रतिनिधि इस मुद्दे को लेकर बुधवार को वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण से मिले। उन्होंने इस पहलू पर जोर दिया कि कोचिंग सेंटरों पर लगने वाले ऊंचे जीएसटी रेट से उनपर कितना असर पड़ता है। कोटा के एलेन इंस्टीट्यूट के अधिकारी ललित माहेश्वरी ने बताया कि उनकी मांग 18 फीसदी जीएसटी रेट को हटाने या निचले टैक्स स्लैब में लाने की है। कोचिंग इंस्टीट्यूट्स पर लगने वाले जीएसटी को हटाने या कम करने से लाखों छात्रों को सीधा फायदा पहुंचेगा।
प्रतिनिधियों के इस मंडल ने वित्त मंत्री को बताया कि हर साल लगभग 50 लाख स्टूडेंट्स इंजीनियरिंग और मेडिकल कॉलेजों में एडमिशन के लिए एंट्रेस एग्जाम देते हैं। लगभग 25 लाख स्टूडेंट्स एग्जाम की तैयारी के लिए कोचिंग इंस्टीट्यूट्स में एडमिशन लेते हैं। वित्त मंत्री ने इस संबंध में सकारात्मक प्रतिक्रिया देते हुए प्रतिनिधि मंडल को अपने-अपने राज्य के वित्त मंत्रियों तक अपनी मांग पहुंचाने को कहा है। उन्होंने कहा कि अगर राज्यों के वित्त मंत्रालय कोचिंग इंस्टीट्यूट्स पर लगने वाले जीएसटी का मुद्दा उठाएंगे तो जीएसटी काउंसिल इस पर जरूर विचार करेगा।