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Third installment of relief - one lakh crore rupees for agricultural infrastructure, stock limit will end

राहत की तीसरी किस्त- कृषि इन्फ्रास्ट्रक्चर के लिए एक लाख करोड़ रुपये, खत्म होगी स्टॉक लिमिट

जयपुर। वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण (Finance Minister Nirmala Sitharaman) ने शुक्रवार को आर्थिक राहत पैकेज की तीसरी किस्त (Third installment of economic relief package) का ऐलान किया। ये घोषणाएं कृषि (Announcements Agriculture) और इससे जुड़े क्षेत्र से जुड़ी हैं। वित्त मंत्री (Finance Minister Nirmala Sitharaman) ने कहा कि कृषि इन्फ्रास्ट्रक्चर प्रोजेक्ट (Agricultural Infrastructure Project) के लिए एक लाख करोड़ रुपये फाइनेंसिंग की सुविधा दी जाएगी। इसके लिए तत्काल एक फंड बनाया जाएगा। प्राथमिक कृषि सहकारी समितियों, एफपीओ, स्टार्टअप आदि के जरिए इन्फ्रास्ट्रक्चर का विकास किया जाएगा।

आवश्यक वस्तु अधिनियम में भी संशोधन

वित्त मंत्री (Finance Minister Nirmala Sitharaman) के अनुसार आवश्यक वस्तु अधिनियम में भी संशोधन (Amendment in Essential Commodities Act) किया जाएगा। अनाज, तिलहन, दालें, खाद्य तेल आलू और प्याज को विनियमित किया जाएगा। प्रोसेसिंग या वैल्यू चेन कंपनियों और निर्यातकों पर स्टॉक लिमिट लागू नहीं होगी। संशोधन के बाद राष्ट्रीय आपदा और अकाल जैसी परिस्थितियों में ही स्टॉक लिमिट लगाई जाएगी। वित्त मंत्री ने कुल 11 कदम घोषित किए, इनमें से आठ इन्फ्रास्ट्रक्चर, लॉजिस्टिक्स और भंडारण क्षमता विकसित करने के लिए और तीन प्रशासनिक सुधार से जुड़े हैं।

बदलेगा आवश्यक वस्तु अधिनियम, खत्म होगी स्टॉक लिमिट

सरकार करीब साढ़े छह दशक बाद आवश्यक वस्तु अधिनियम में संशोधन (Amendment in Essential Commodities Act) करने जा रही है। इस संशोधन के तहत अनाज, दालें, खाद्य तेल, तिलहन, आलू और प्याज को डिरेगुलेट किया जाएगा। वित्त मंत्री ने बताया कि इस संशोधन के बाद किसी भी उपज पर स्टॉक लिमिट लागू नहीं (Stock limit not applicable on yield) होगी। राष्ट्रीय आपदा और अकाल जैसी परिस्थितियों में ही जब चीजों के दाम ज्यादा बढ़ेंगे तब स्टॉक लिमिट लगाई जाएगी। प्रोसेसिंग और वैल्यू चेन कंपनियों पर भी स्टॉक लिमिट लागू नहीं होगी। उन्होंने बताया कि किसानों को उपज बेचने के विकल्प उपलब्ध कराने के लिए नियम बनाया जाएगा। वे दूसरे राज्यों में भी अपनी उपज बिना बाधा के बेच सकेंगे।

छोटी खाद्य इकाइयों के लिए 10,000 करोड़ की योजना

वित्त मंत्री (Finance Minister Nirmala Sitharaman) ने छोटी खाद्य इकाइयों (Small food units) (माइक्रो फूड एंटरप्राइजेज) के लिए 10,000 करोड़ रुपये की योजना भी घोषित की। यह योजना क्लस्टर आधारित होगी। स्कीम के तहत असंगठित क्षेत्र की इकाइयां अपनी तकनीक को अपग्रेड कर सकेंगी ताकि वे खाद्य नियामक एफएसएसएआई के मानकों पर खरी उतर सकें। उन्हें ब्रांड और मार्केटिंग में भी मदद की जाएगी। इस स्कीम से दो लाख इकाइयों को मदद मिलने का अनुमान है। स्वयं सहायता समूहों को भी सहायता दी जाएगी।

20,000 करोड़ रुपये की मत्स्य संपदा योजना

वित्त मंत्री (Finance Minister Nirmala Sitharaman) ने मछुआरों के लिए प्रधानमंत्री मत्स्य संपदा योजना (Prime Minister Fisheries Scheme) की घोषणा की। यह योजना 20,000 करोड़ रुपये की होगी। इसमें से 9,000 करोड़ रुपये से मत्स्य पालन (Fisheries) के लिए आधारभूत ढांचे का विकास किया जाएगा। उन्होंने कहा कि इससे पांच वर्षों में मछली उत्पादन 70 लाख टन बढ़ने का अनुमान है। इससे 55 लाख लोगों को रोजगार मिलेगा और एक लाख करोड़ रुपये के मत्स्य उत्पादों का निर्यात किया जा सकेगा।

डेयरी कोऑपरेटिव को ब्याज में दो फीसदी छूट

वित्त मंत्री (Finance Minister Nirmala Sitharaman) ने कहा कि डेयरी कोऑपरेटिव (Dairy Cooperative) के लिए ब्याज में दो फीसदी छूट वाली स्कीम लाई जाएगी। इससे कोऑपरेटिव (Dairy Cooperative) को 5,000 करोड़ रुपये की अतिरिक्त नकदी मिलेगी और दो करोड़ किसानों को लाभ मिलेगा। उन्होंने बताया कि लॉकडाउन के चलते दूध की बिक्री 20 से 25 फीसदी घट गई और किसानों को सड़कों पर दूध फेंकना पड़ा। इस दौरान सहकारी कंपनियों ने रोजाना औसतन 560 लाख लीटर दूध की खरीद की और किसानों को 4,100 करोड़ रुपये का भुगतान किया।

पशुपालन इन्फ्रास्ट्रक्चर के विकास के लिए 15,000 करोड़

वित्त मंत्री (Finance Minister Nirmala Sitharaman) के अनुसार पशुपालन इन्फ्रास्ट्रक्चर (Animal Husbandry Infrastructure) के विकास के लिए 15,000 करोड़ रुपये का पशुपालन इन्फ्रास्ट्रक्चर विकास फंड (Animal Husbandry Infrastructure Development Fund) बनाया गया है। इससे दूध की प्रोसेसिंग का प्लांट, पशुचारा प्लांट आदि खड़ा किया जा सकेगा। इसका मकसद सिर्फ घरेलू जरूरतों को पूरा करना नहीं, बल्कि निर्यात करना भी है। वित्त मंत्री ने उन्होंने देश के सभी 53 करोड़ मवेशियों के टीकाकरण के लिए 13,343 करोड़ रुपये की योजना का भी ऐलान किया।

जड़ी-बूटियों की खेती को बढ़ावा, 4000 करोड़ रुपये की योजना

वित्त मंत्री (Finance Minister Nirmala Sitharaman) ने जड़ी-बूटियों की खेती को बढ़ावा देने के लिए 4,000 करोड़ रुपये की योजना भी घोषित की। इसके तहत दो वर्षों में 10 लाख हेक्टेयर जमीन में इनकी खेती की जाएगी। इसके अलावा मधुमक्खी पालन को बढ़ावा देने लिए भी 500 करोड़ रुपये की घोषणा की। उन्होंने बताया कि लॉकडाउन के दौरान न्यूनतम समर्थन मूल्य (एमएसपी) के रूप में किसानों को 74,300 करोड़ रुपये का भुगतान किया गया। पीएम किसान योजना के तहत दो महीने में 18,700 करोड़ रुपये दिए गए। इसके अलावा फसल बीमा योजना के तहत 6,400 करोड़ रुपये के दावे का भुगतान किया गया है।

 

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